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अयोध्या(संवाददाता) सुरेंद्र कुमार गौतम। जिले में कोरोना संक्रमण से लोगों के बचाने के लिए टीकाकरण का अभियान तेजी से चल रहा है। वैक्सीन की पर्याप्त उपलब्धता न होने के बावजूद अभी तक आबादी की सापेक्ष करीब 22 फीसदी लोगों तक वैक्सीन पहुंच चुकी है।इनमें तीन प्रतिशत लोगों ने दूसरी खुराक भी लगवा ली है। इस तरह जाहिर है कि यदि पर्याप्त मात्र में वैक्सीन उपलब्ध हो तो निर्धारित लक्ष्य को तेजी से पूरा किया जा सकता है।जिले की मौजूदा समय में करीब 29 लाख आबादी हो चुकी है। इनमें सरकारी आंकड़ों के अनुसार 18 वर्ष से अधिक उम्र करीब 18.5 लाख लोग शामिल हैं। जनवरी माह से ही जिले में कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए टीकाकरण की जोरशोर के साथ शुरुआत हुई थी।
चरणबद्ध तरीके से स्वास्थ्य कर्मी, फ्रंटलाइन वर्कर्स को टीके से सिक्योर करने के बाद जनता की बारी आई और सबसे पहले बुजुर्गों व विभिन्न बीमारियों से ग्रसित 45 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों को मौका दिया गया।अगले चरण में 45 वर्ष से अधिक उम्र के सभी लोगों का टीकाकरण शुरू हुआ और मई से 18 वर्ष से अधिक उम्र के सभी लोगों को टीका लगाया जा रहा है।
इन दिनों ग्रामीण क्षेत्र तक पहुंच आसान करने के मकसद से अभियान को और विस्तृत किया गया है। मुख्यमंत्री के पायलट प्रोजेक्ट के तहत सभी विकास खंड क्षेत्रों को क्लस्टर बनाकर वृहद स्तर पर टीकाकरण किया जाना था।मसौधा, पूरा, रुदौली व सोहावल ब्लॉक में इसकी शुरुआत हो गई थी और बीते सप्ताह से ही सभी विकास खंडों में अभियान शुरू किया जाना था। इस बीच वैक्सीन की आपूर्ति व्यवस्था चरमराने से अभियान को कुछ ब्रेक लग गया। फिर भी अब तक जिले में टीकाकरण की स्थिति बेहतर रही है। स्वास्थ्य विभाग से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार मौजूदा समय में चार लाख 196 लोगों को वैक्सीन लगाई जा चुकी है। इनमें 3,43,248 लोगों को पहली खुराक दी गई है, जबकि 56948 लोगों ने दूसरी खुराक भी ले ली है। टीके की पहली खुराक ले चुके लोगों में 12557 स्वास्थ्य कर्मी, 12764 फ्रंटलाइन वर्कर, 18 वर्ष से 45 वर्ष के 1,72,109, 45 से 60 वर्ष के 85100 व 60 वर्ष से अधिक आयु के 60718 लोग शामिल हैं। हालांकि, इधर वैक्सीन की आपूर्ति में कुछ तेजी आई है, जिसकी वजह से पायलट प्रोजेक्ट की वजह से चार ब्लॉकों में रुका टीकाकरण अभियान दोबारा शुरू किया गया है। इस तरह यदि वैक्सीन की आपूर्ति पर्याप्त होती रही तो लक्ष्य को पूरा करने में आसानी होगी। सभी चार विकास खंडों के पायलट प्रोजेक्ट व अस्पतालों के कुल सत्रों को मिलाकर जिले में प्रतिदिन करीब 20 हजार से अधिक लोगों को पहली खुराक लगती है। इनमें प्रतिदिन दो हजार लोगों को दूसरी खुराक भी दी जा रही है। हालांकि, वैक्सीन की कमी की वजह से कभी-कभी दूसरी खुराक के लिए लोगों को दिक्कतें उठानी पड़ती हैं। वैक्सीन की कमी की वजह से योजना के अनुरूप पूरी तरह टीकाकरण नहीं हो पा रहा है। फिर भी उपलब्धता के सापेक्ष तेजी से टीकाकरण किया जा रहा है। पर्याप्त वैक्सीन उपलब्ध होने पर अभियान को और तेजी से चलाया जाएगा। इसके लिए माइक्रोप्लान पहले से ही तैयार किया गया है।