सशक्त, समृद्ध और एकीकृत आसियान के लिए भारत का पूरा समर्थन, 10 देशों से जयशंकर का वादा

Getting your Trinity Audio player ready...

विदेश मंत्री एस जयशंकर

भारत ने सशक्त, समृद्ध व एकीकृत आसियान के निर्माण के लिए अपना पूरा समर्थन देने का वादा किया है। विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने आसियान के 10 देशों के विदेश मंत्रियों के सम्मेलन को संबोधित करते हुए यह बात कही। यह संगठन हिंद-प्रशांत क्षेत्र में पूरी तरह से मान्यता प्राप्त प्रभावशाली समूह है।

दो दिनी बैठक को संबोधित करते हुए विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि एक बेहतर कनेक्टेड भारत और आसियान विकेंद्रीकृत वैश्वीकरण और लचीले तथा विश्वसनीय आपूर्ति तंत्र को बढ़ावा देने में कामयाब होगा। दक्षिण पूर्वी एशियाई देशों के संगठन (आसियान) को इस क्षेत्र के सबसे प्रभावशाली समूहों में से एक माना जाता है। इसमें भारत, अमेरिका, चीन, जापान और ऑस्ट्रेलिया सहित कई अन्य देश इसके संवाद भागीदार हैं।

कोरोना महामारी का जिक्र करते हुए जयशंकर ने कहा कि यह पूरी तरह अब भी खत्म नहीं हुई है। हमें अभी मिलकर लंबा रास्ता तय करना है और महामारी के पश्चात रिकवरी करना है। विदेश मंत्री ने कहा कि भू-राजनीतिक समस्याओं के कारण महामारी से जूझना और कठिन हो गया है। हमें उसका सामना यूक्रेन के घटनाक्रम, खाद्य और ऊर्जा सुरक्षा के साथ-साथ उर्वरक और अन्य वस्तुओं की कीमतों तथा रसद आपूर्ति पर प्रभाव से निपटते हुए करना है।
उन्होंने कहा कि भारत-आसियान संबंधों को उस दुनिया को जवाब देना चाहिए, जिसका हम सामना करते हैं। आसियान हमेशा क्षेत्रवाद, बहुपक्षवाद और वैश्वीकरण के प्रतीक के रूप में खड़ा रहा है। जयशंकर ने कहा कि आसियान ने इस क्षेत्र में अपने लिए सफलतापूर्वक मुकाम पाया है। इसने हिंद-प्रशांत में रणनीतिक और आर्थिक आधार विकसित करने की बुनियाद रखी है। उन्होंने कहा कि भू-राजनीतिक चुनौतियों और दुनिया के सामने मौजूद अनिश्चितताओं को देखते हुए आज आसियान की भूमिका शायद पहले से कहीं अधिक महत्वपूर्ण है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *