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जौनपुर। एक तरफ जहां योगी सरकार भ्रष्टाचार पर नकेल कसने की तमाम कवायदे कर रही है चाहे कोई भी विभाग हो चाहे कोई अधिकारी हो सभी के ऊपर नकेल कसने के लिए न्याय प्रिय मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा बराबर प्रयास किया जा रहा है तो जनपद जौनपुर में एक बड़ी परियोजना के तहत सरकार द्वारा कराए जा रहे हैं कार्यों में जमकर भ्रष्टाचार व धांधली की बातें सामने आ रही हैं। इस भ्रष्टाचार के खिलाफ बीजेपी के ही कार्यकर्ता ने आंदोलन छेड़ रखा है। स्वच्छ गोमती अभियान के अध्यक्ष व भाजपा नेता गौतम गुप्ता ने 500 करोड़ से अधिक की नमामि गंगे और अमृत योजना के तहत नगर में कराए जा रहे सीवर लाईन के कार्य मे जमकर भ्रष्टाचार होने का आरोप लगाया है। उन्होंने कार्यदायी संस्था जल निगम के एक्सईएन और गंगा यूनिट वाराणसी के प्रोजेक्ट मैनेजर को भ्रष्टाचारी बताते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई किए जाने की बात कही है । भाजपा नेता गौतम गुप्ता ने कहा कि ये अधिकारी चार माह पूर्व एसटीपी परियोजना के निरीक्षण के लिए जौनपुर आए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को भी गुमराह कर चुके हैं।
उक्त बातें कलेक्ट्रेट परिसर स्थित पत्रकार भवन में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान
स्वच्छ गोमती अभियान के अध्यक्ष गौतम गुप्ता ने पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा साथ ही उन्होंने कहा
कि हमारी संस्था शुरू से ही नमामि गंगे (एसटीपी) और अमृत योजना में मानक के अनुरूप कार्य न कराए जाने और जनता के पैसे का बंदरबांट होने की बात कहती चली आ रही है । भ्रष्टाचार इस सीमा तक पहुंच गया कि जहां जहां सीवर के लिए पाइप डाली गई वहां की सड़कें धंस गई। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि सिपाह से शाही किला तक सड़क खोदकर पाइप बिछाई गई थी । इस सड़क को एक बार जल निगम ने बनाया फिर तीन माह के भीतर इसी सड़क को लोक निर्माण विभाग ने दोबारा बना दिया। इस मामले में कोई भी अधिकारी कुछ बोलने को तैयार नहीं है । इसमें भी लम्बा खेल हुआ है।
स्वच्छ गोमती अभियान के अध्यक्ष गौतम गुप्ता ने कहा कि स्वच्छ गोमती अभियान नमामि गंगे व अमृत योजना में व्याप्त बेहद गम्भीर तकनीकी व वित्तीय भ्रष्टाचार पर लम्बे समय से आवाज उठाती आ रही है । भ्रष्टाचारी जलनिगम के अधिकारियों को पहले भी चेताया गया था । बावजूद इसके सीवर लाइन की पाइप डालने के दौरान उसकी ग्रेवलिंग, टिम्बरिंग इत्यादि मानकों के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। पाइप भी बहुत ही निम्न गुणवत्ता की डाली जा रही है । जिसके परिणामस्वरूप इस परियोजना का सफल हो पाना सम्भव नहीं दिख रहा है। यदि समय रहते इस गम्भीर मुद्दे पर विभाग व जिला प्रशासन ने कार्रवाई की होती तो आज जौनपुर नगर की सड़कों की यह दुर्दशा न होती । जलनिगम जौनपुर के अभियंता सचिन सिंह व गंगा यूनिट वाराणसी के प्रोजेक्ट मैनेजर संजय बर्मन उत्तर प्रदेश की कर्मठ और ईमानदार योगी सरकार की साख को बट्टा लगाने का कार्य कर रहे हैं। इन जिम्मेदार अधिकारियों को पूर्व में ही इन गड़बड़ियों से अवगत करा दिया गया था। समूचे शहर में अब तक लगभग अलग-अलग 15 स्थानों पर सीवर डाले जाने के बाद सड़के धंस चुकी हैं। कभी भी कोई बड़ी अनहोनी होने का खतरा बना हुआ है। ऐसे में स्वच्छ गोमती अभियान जिलाधिकारी जौनपुर के माध्यम से आग्रह करेगा कि अमृत योजना व नमामि गंगे योजना में व्याप्त इस बेहद गम्भीर तकनीकी व वित्तीय भ्रष्टाचार का संज्ञान लेते हुए सभी आरोपी अधिकारियों के विरुद्ध कठोर से कठोर कार्रवाई करें, जिससे भविष्य में ये अधिकारी ईमानदार व भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस की नीति वाली भाजपा सरकार को बदनाम करने का साहस न करें।