विश्व हिन्दू महासंघ गुजरात द्वारा गणपति महोत्सव के उपलक्ष्य में महंत अवैद्यनाथ जी की दसवीं पुण्यतिथि पित्यर्थ उनकी पावन स्मृति को वंदन किया गया

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विश्व हिन्दू महासंघ गुजरात द्वारा गणपति महोत्सव के उपलक्ष्य में महंत अवैद्यनाथ जी की दसवीं पुण्यतिथि पित्यर्थ उनकी पावन स्मृति को वंदन किया गया

ब्यूरो चीफ आर एल पाण्डेय

लखनऊ।आस्था और समुदाय के एक भव्य उत्सव में, विश्व हिन्दू महासंघगुजरात प्रदेश अध्यक्ष श्री नवीन कुमठ और मीडिया प्रभारी श्री अर्नब मोइत्रा के नेतृत्व में, कोषाध्यक्ष श्री जय करिया के सहयोग से महंत अवैद्यनाथजी की पुण्य तिथि के सम्मान में गणेश महोत्सव का सफलतापूर्वक आयोजन किया। इस कार्यक्रम ने भक्ति और सेवा की भावना का जश्न मनाने के लिए भक्तों और समुदाय के सदस्यों को एक साथ लाया।

महंत अवैद्यनाथ जी एक राजकीय नेता एवं पूर्व गोरक्षपीठाधीश्वर थे। वे हिन्दू महासभा व तत्पश्चात भरतीय जनता पार्टी के सदस्य बने। अवैद्यनाथ जी 4 बार गोरखपुर से सांसद भी चुने गए। हिन्दू पुनर्जागरण तथा राम जन्मभूमि के आंदोलनों में आपकी मुख्य भूमिका रही है।

उत्सव में दैनिक भोजन वितरण किया गया। 10 दिन तक चलनेवाले इस महोत्सव में करीब 2 लाख लोगों को भोजन प्रदान किया गया। सामाजिक कल्याण और सामुदायिक जुड़ाव के प्रति प्रतिबद्धता को उजागर करने के लिए यह एक महत्वपूर्ण उपक्रम साबित हुआ। उपक्रम में प्रतिपालना चैरिटेबल ट्रस्ट का भी सहयोग रहा, जिसने दैनिक भोजन की सुविधा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

इस कार्यक्रम में बतौर सम्मानित मुख्य अतिथि सूरत शहर के पुलिस कमिश्नर श्री अनुपमसिंह गहलोत जी तथा वाहतूक विभाग के असिस्टेंट कमिश्नर श्री परमार जी उपस्थित थे, जिन्होंने सांप्रदायिक सद्भाव और आध्यात्मिक विकास को बढ़ावा देने में ऐसी सभाओं के महत्व को स्वीकार किया।

विश्व हिन्दू महासंघ कार्य करते हुए कुल 43 साल हुए है। गोरक्षपीठाधीश्वर श्री योगी आदित्यनाथ जी इस संस्था के अंतरराष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं संरक्षकहै। राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री महंत सुरेन्द्रनाथ अवधूत जी है, तथा राष्ट्रीय संगठन महामंत्री का पद श्री योगी राजकुमारनाथ चौहान जी ने संभाला है। संघ के गुजरात राज्य के प्रदेश अध्यक्ष श्री नवीन कुमठ जी का यह तीसरा वर्ष है।

इस गणेश महोत्सव ने न केवल भगवान गणेश की दिव्य उपस्थिति का जश्न मनाया, बल्कि समुदाय में सेवा और भक्ति के मूल्यों को मजबूत करते हुए महंत अवैद्यनाथजी की विरासत का भी सम्मान किया।

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